India News(इंडिया न्यूज़), Fuel: हवाई जहाज का ईंधन सामान्य ईंधन की तुलना में अधिक शुद्ध, ज्यादा ज्वलनशील, कम तापमान पर जमने की संभावना कम और सुरक्षित होता है। इन्हीं गुणों के कारण हवाई जहाज का ईंधन सामान्य ईंधन से अधिक महंगा होता है।
हवाई जहाज और कार-ट्रक में इस्तेमाल होने वाले ईंधन में बहुत अंतर होता है। साथ ही इनकी कीमत में भी बड़ा अंतर है। पेट्रोल जहां ज्वलनशील होता है, वहीं हवाई जहाज में इस्तेमाल होने वाला ईंधन ज्यादा ज्वलनशील होता है। यह ईंधन पेट्रोल की तुलना में तेजी से आग पकड़ता है। इसी वजह से हवाई जहाजों में इस्तेमाल होने वाले ईंधन को आम लोगों की पहुंच से दूर रखा जाता है। साथ ही इसका परिवहन भी सावधानी से किया जाता है।
हवाई जहाज का ईंधन एक खास तरीके से तैयार किया जाता है। दरअसल, हवाई जहाज का इंजन एक टरबाइन इंजन होता है। इससे हवाई जहाज के ईंधन से अधिक ऊर्जा प्राप्त होती है और विमान हवा से बातें करता है। हवाई जहाज का ईंधन बहुत कम तापमान पर भी नहीं जमता है, जिसके कारण यह अधिक ऊंचाई पर भी काम कर सकता है। हवाई जहाज का ईंधन बनाने की प्रक्रिया जटिल और महंगी है, जिसके कारण इसकी कीमत भी अधिक होती है।
सामान्य ईंधन में पेट्रोल और डीजल शामिल हैं, जिनका उपयोग कारों और अन्य वाहनों में किया जाता है। सामान्य ईंधन हवाई जहाज के ईंधन से कम शुद्ध होता है। सामान्य ईंधन हवाई जहाज के ईंधन की तुलना में धीमी गति से जलता है और कम ऊर्जा प्रदान करता है। सामान्य ईंधन कम तापमान पर जम सकता है, जिसके कारण यह ऊंचाई पर काम नहीं कर सकता है। सामान्य ईंधन हवाई जहाज के ईंधन की तुलना में कम सुरक्षित होता है और इसमें आग लगने का खतरा अधिक होता है। सामान्य ईंधन बनाने की प्रक्रिया सरल और सस्ती होती है, जिससे इसकी कीमत भी कम होती है।