इंडिया न्यूज़, Delhi News : दिल्ली नगर निगम पूर्वी दिल्ली की करीब 18 हजार से अधिक संपत्तियों पर बुलडोजर का पीला पंजा चलाने की तैयारी में है। इस मामले में नगरनिगम के भवन विभाग ने 20 साल से भी अधिक पुराने हो चुके मकानों को अवैध निर्माण की श्रेणी में बुक करके रखा हुआ है।
एकीकृत निगम होने से पहले और बाद में संपत्ति मालिकों को इस अतिक्रमण को लेकर लगातार नोटिस भेजे जा रहे हैं। नोटिस मिलने के बाद से ही संपत्ति मालिकों के मन में डर और धड़कनें बढ़ गई हैं। जिन भी मकानों को अवैध निर्माण की कार्रवाई के लिए बुक किया है, उन सभी घरों में लोग अपना नीजी जीवन बीता रहें है।
मिली जानकारी के अनुसार एकीकृत राजधानी नगर निगम से पहले पूर्वी दिल्ली नगर निगम भवन विभाग के अधिकारियों द्वारा अशोक नगर, मौजपुर, मंडावली, लक्ष्मी नगर, गीता कॉलोनी, गांधी नगर, खिचड़ीपुर, दिलशाद गार्डन, शकरपुर, उस्मानपुर, रघुबरपुरा, सीलमपुर, सहित शाहदरा दक्षिण और उत्तरी जोन के तहत उक्त कॉलोनियों समेत अन्य में निवासियों को भवन विभाग की ओर से मोटी संख्या में नोटिस के प्रस्ताव भेजे जा चुके हैं।
जिन भी अवैध संपत्ति मालिकों को नोटिस मिले हैं, उन्होंने नाम ना छापने की शर्त बता कर लिखा गया है कि या तो आप मकान खाली करो अन्यथा मकान को तोड़ दिया जाएगा, जबकि उनके मकान 10 से 20 सालों से भी ज्यादा समय से उस स्थान पर बने हुए है।
राजधानी निगम के वरिष्ठ अधिकारियों ने कहा कि जिन भी लोगों के घरों के उपर नोटिस भेजे गए हैं, उनके मकानों या किसी की भी दुकानों को धाराशाही करने की किसी प्रकार की कोई भी योजना निगम की नहीं है। यह कार्रवाई अनधिकृत कॉलोनियों में भी नहीं की जाएगी। अतिक्रमण सिर्फ सड़कों और पार्कों से ही हटाया जाने वाला है। इस संबंध में नगर निगम की तरफ से एक पब्लिक नोटिस भी जारी किया जा रहा है।