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Delhi High Court: इश्क, आशिक और महिला… हाईकोर्ट ने रिलेशनशिप पर बड़ा फैसला दिया है

• LAST UPDATED : April 17, 2024

India News Delhi (इंडिया न्यूज), Delhi High Court: दिल्ली हाईकोर्ट ने एक मामले के दौरान एक महत्वपूर्ण टिप्पणी दी है। उच्च न्यायालय ने कहा कि अगर किसी प्रेम संबंध में एक युवक अपनी जान दे देता है, तो उसका दोष महिला को ठहराया नहीं जा सकता है। ऐसी टिप्पणी तब दी गयी जब हाई कोर्ट के पास एक केस आया जिसमे एक व्यक्ति ने सुसाइड करने के से पहले एक नोट लिखा था। उस नोट में महिला के साथ-साथ एक और व्यक्ति को भी जिम्मेदार बताया गया था। हाईकोर्ट के जस्टिस अमित महाजन ने कहा कि अगर कोई व्यक्ति मानसिक रूप से कमजोर होता है और उसका यह कदम है, तो उसके लिए दूसरे व्यक्ति को दोषी ठहराना उचित नहीं है। उन्होंने यह भी कहा कि इस तरह के फैसलों में किसी और को आत्महत्या के लिए जिम्मेदार ठहराना न्यायिक नहीं होता।

Delhi High Court: क्या थी सुसाइड की असली वजह?

हम आपको बता दे कि सुसाइड करने वाले व्यक्ति के पिता ने FIR दर्ज की थी। नोट पर नाम वाली महिला सुसाइड करने वाले व्यक्ति के साथ प्रेम संबंध में थी। और दूसरा व्यक्ति जिसका नाम था, वह उनका कॉमन फ्रैंड था। उनपर आरोप लगे थे कि आवेदकों ने सुसाइड करने वाले लड़के को उकसाया था और कहा था कि उन्होंने आपस में शारीरिक संबंध बनाए हैं| साथ ही ये भी बोला था की वे जल्द ही शादी करने वाले हैं। इस बात को मर्त व्यक्ति ने कुछ ज़ादा ही सीरियसली ले लिया और खुदका जीवन समाप्त कर लिया।

कोर्ट ने मोबाइल की whatsApp चैट्स देखी। WhatsApp चैट्स से असली मामला पता चला। मृतक लड़का एक दम संवेदनशील स्वभाव का था। जब भी महिला उस लड़के से बात करने से मना करती थी, तब वह उसे आत्महत्या की धमकी देकर डराता था। कोर्ट ने यह भी कहा कि कथित सुसाइड नोट के तथ्य को ट्रायल के दौरान देखा जाएगा। साथ ही यह भी देखा जाएगा कि आवेदकों की तरफ से कोई उकसावा किया गया था या नहीं।

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