Delhi Pollution: दिल्ली-NCR के लोगों को अब ठंड से राहत मिलने लगी है। यहां के तापमान में लगातार बढ़ोतरी हो रही है जिससे मौसम खुशनुमा बना हुआ है लेकिन राजधानी में वायु प्रदूषण कम होने का नाम नहीं ले रहा है जिससे एक्यूआई अभी भी ‘खराब’ श्रेणी में ही बना हुआ है।
पहले चरण की पाबंदियां अभी भी लागू
दिल्ली के वायु प्रदूषण स्तर में मामूली वृद्धि के बावजूद भी वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (सीएक्यूएम) ने सोमवार, 6 फरवरी को श्रेणीबद्ध प्रतिक्रिया कार्य योजना (ग्रैप) के दूसरे चरण के तहत प्रतिबंधों को लगाने से परहेज किया। हालांकि ग्रैप के पहले चरण की पाबंदियां अभी लागू हैं, जिसके तहत प्रदूषणकारी उद्योगों, वाहनों और पराली इत्यादि (बयोमास) जलाने पर रोक है।
‘खराब’ श्रेणी में पहुंचा AQI
बता दें जिम्मेदार उपसमिति ने सोमवार को ग्रैप के तहत जरूरी कदम उठाने के लिए एक बैठक में स्थिति की समीक्षा की। वहीं कुछ एजेंसियों ने रविवार को दिल्ली में हवा की गुणवत्ता में तेजी से गिरावट की संभावना जताई। बीते 24 घंटे में दिल्ली का औसत वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) खराब होकर 265 पर पहुंच गया जो रविवार को 244 पर था।
प्रदूषण को लेकर अर्लट जारी
भारतीय उष्णकटिबंधीय मौसम विज्ञान संस्थान का कहना है कि आने वाले दिनों में दिल्ली का एक्यूआई ‘खराब’ श्रेणी में ही रहेगा। वहीं उपसमिति ने सोमवार को की बैठक में कहा, “उपरोक्त बिंदुओं पर विचार करते हुए यह फैसला किया गया है कि ग्रैप के पहले चरण के तहत चल रही कार्रवाई जारी रहनी चाहिए और दूसरे चरण की कार्रवाई की कोई जरूरत नहीं है।”
ग्रैप से आप क्या समझते हैं?
बता दें ग्रैप (GRAP) प्रदूषण की स्थिति की गंभीरता के अनुसार दिल्ली और इसके आसपास के क्षेत्रों में वायु प्रदूषण विरोधी उपायों का एक सेट है। यह दिल्ली-NCR की वायु गुणवत्ता को चार श्रेणियों में वर्गीकृत करता है। पहला चरण- खराब (एक्यूआई 201-300), दूसरा चरण- बहुत खराब (एक्यूआई 301-400), तीसरा चरण-गंभीर (एक्यूआई 401-450) और चौथा चरम-बहुत खराब (एक्यूआई 450 और उससे अधिक) है।
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