India News(इंडिया न्यूज़)G20 2023 Guest Security: G20 मे आने वाले मेहमानों के लिए राजधानी दिल्ली को पिछले कई महीनों से साजाया जा रहा है। अब G20 सम्मेलन के शुरू होने मे कुछ ही दिन बचे हैं। जिसके लिए केन्द्र सरकार और राज्य सरकार से लेकर MCD, NDMC, CPWD, PWD तमाम एजेंसियां दिन-रात एक कर साफ सफाई से लेकर दिल्ली को साजने संवारने मे जुटे हुए हैं। जी-20 के दौरान अंतरराष्ट्रीय मेहमानों के सामने नई दिल्ली को बेहतरीन रूप में दिखाने के लिए जोर शोर से तैयारी चल रही है।
जी20 शिखर सम्मेलन के आयोजन में अब मुश्किल से हफ्ते भर का ही वक्त बचा है। तैयारियां अब जोरों पर है। सुरक्षा, सौंदर्यीकरण, सड़कों के निर्माण और ग्रीनरी पर जमकर खर्च किया जा रहा है। एनडीएमसी एरिया में सौंदर्यीकरण पर अब तक 60 करोड़ रुपये खर्च किए गए हैं। दिल्ली सरकार के फॉरेस्ट डिपार्टमेंट ने 16 करोड़ रुपये और पीडब्ल्यूडी ने सड़कों के सौंदर्यीकरण पर अब तक 45 करोड़ रुपये खर्च किए हैं। दिल्ली पुलिस इस मामले में सबसे अधिक है। सम्मेलन के दौरान सुरक्षा व्यवस्था चाक-चौबंद करने पर अब तक 340 करोड़ रुपये खर्च किए हैं।
जी20 सम्मेलन के लिए दिल्ली में जो काम किए जा रहे हैं, उसमें अलग एजेंसियों ने योगदान दिया है। अलग अलग कार्यों के लिए पैसे भी खर्च किए हैं। लेकिन, सबसे अधिक पैसे सिक्योरिटी अरेंजमेंट पर दिल्ली पुलिस ने खर्च किए हैं। दिल्ली पुलिस ने अब तक सिक्योरिटी अरेंजमेंट पर 340 करोड़ रुपये खर्च किए हैं। कुछ निजी कंपनियों ने भी दिल्ली में सौंदर्यीकरण के लिए सीएसआर फंड के तहत पैसे उपलब्ध कराए हैं। सीएसआर फंड के तहत करीब 3 करोड़ रुपये दिल्ली के सौंदर्यीकरण पर खर्च किया गया है।
एनडीएमसी एरिया में ज्यादातर हॉर्टिकल्चर वर्क हुआ है, जिस अबतक करीब 60 करोड़ रुपये खर्च हुए हैं। अफसरों का कहना है कि जी20 के दौरान एनडीएमसी फोकस एरिया होगा। इसलिए एनडीएमसी एरिया में जो 41 मेन रोड हैं, उनका रीकारपेटिंग किया गया है। जगह-जगह फाउंटेन लगाए गए हैं। इसके अलावा फुटपाथ के किनारे जितने भी ग्रीन बेल्ट हैं, उसे ग्रास बेड बनाकर सजाया गया है। सौंदर्यीकरण के मामले में एमसीडी और डीडीए सबसे पीछे हैं। एमसीडी ने जी20 के दौरान सौंदर्यीकरण पर अब तक 6-7 करोड़ रुपये ही खर्च किया है।
पीडब्ल्यूडी अफसरों के अनुसार प्रगति मैदान के आसपास का एरिया, लाल किला, सलीम गढ़ फोर्ट से लेकर राजघाट तक ब्यूटिफिकेशन किया गया है। इन इलाकों में करीब 3 दर्जन से अधिक तो फाउंटेन लगाए गए हैं। फाउंटेन बनाने में राजस्थान के पत्थरों का इस्तेमाल किया गया है। करोड़ों रुपये इन पर खर्च किया गया है। इसके अलावा फाउंटेन के लिए टैंकरों से पानी उपलब्ध कराने, लाइटिंग के बिजली केबल और डीजी सेट भी हायर किया गया है। इन सभी कार्यों पर 40-45 करोड़ रुपये खर्च हो चुके हैं। प्रगति मैदान के जितने भी एंट्री- एग्जिट गेट हैं, उनका स्पेशल लुक दिया गया है।
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