बात दें, इनसेट-3डीएस भूस्थैतिक कक्षा में स्थापित किए जाने वाले तीसरी पीढ़ी के मौसम उपग्रह का मिशन है। ये मौसम से संबंधित जानकारी इसरो तक भेजेगा। इस सैटेलाइट को मौसम संबंधित भविष्यवाणी व आपदा चेतावनी के लिए तैयार किया गया है।
वैज्ञानिकों के अनुसार, इस सैटेलाइट का कुल वजन 2274 किलोग्राम है। इस सैटेलाइट को पृथ्वी विज्ञान मंत्रालय ने फंडिंग की है। इस सैटेलाइट में 6 चैनल इमेजर है। इसके अलावा 19 चैनल साउंडर मेटियोरोलॉजी पेलोड्स मौजूद हैं। साथ ही यह सैटेलाइट अपने पुराने सैटेलाइट INSAT-3D और INSAT-3DR के साथ मिलकर मौसम की जानकारी देगा।
– धरती की सतह, समंदर और पर्यावरण पर अलग-अलग स्पेक्ट्रल वेवलेंथ के जरिए नजर रखना।
– वायुमंडल के अलग-अलग मौसमी पैरामीटर्स का वर्टिकल प्रोफाइल देना।
– अलग-अलग जगहों से डेटा कलेक्ट करके उसे वैज्ञानिकों तक देना।
– राहत एवं बचाव कार्यों के दौरान मदद करना।
बता दें, ISRO के INSAT-3DS मौसम उपग्रह के प्रक्षेपण पर इसरो प्रमुख एस सोमनाथ ने कहा, हमें कहते हुए बड़ी खुशी हो रही है कि हमने INSAT-3DS3 मिशन को सफलतापूर्वक लॉन्च कर दिया है। उन्होंने यह भी कहा कि सैटेलाइट को उसकी कक्षा में स्थापित किया गया है और उसका प्रदर्शन काफी अच्छा है। इस काम में शामिल सभी लोगों को बधाई देता हूं।