इंडिया न्यूज, गुरुग्राम। आजादी के अमृत महोत्सव के तहत इंडियन इंस्टीट्यूट आॅफ कारपोरेट अफेयर्स में प्रभावशाली सीएसआर को प्रोत्साहित करने और गुड गर्वनेंस विषय पर एक दिवसीय कार्यक्रम आयोजित किया गया, जिसमें 30 कारपोरेट कंपनियों ने अपनी इनोवेटिव तकनीक की बेस्ट प्रेक्टिसिज का प्रदर्शन किया। इस कार्यक्रम में केंद्रीय राव इंद्रजीत सिंह ने वीडियो संदेश दिया।
केंद्रीय राज्यमंत्री राव इंद्रजीत सिंह ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा आजादी की 75वीं वर्षगांठ के उपलक्ष्य में वर्ष 2047 तक अमृत काल की घोषणा की गई है। इस दौरान विकास के साथ-साथ समावेशी कल्याण, तकनीकी विकास, एनर्जी ट्रांजिशन और क्लाइमेट एक्शन पर ध्यान केंद्रित करते हुए देश आगे बढ़ेगा।
उन्होंने कहा कि हमारा प्रयास है कि कम से कम शासन, अधिकतम सुशासन को सुदृढ़ करते हुए जनता को बेहतर सुविधाएं मिले। उन्होंने कहा कि ग्रोथ अर्थात उन्नति समावेशी हो। कोई भी पीछे ना छूटे। इसमें कॉरपोरेट कम्पनियां भी सहयोग करें। हर व्यक्ति अपनी सामाजिक जिम्मेदारी निभाएगा, तभी देश सस्टेनेबल डेवलपमेंट अर्थात सतत विकास के लक्ष्य को प्राप्त कर सकता है।
राव इंद्रजीत सिंह ने कहा कि सरकार ने 2500 से अधिक अनुपालन और लगभग 1500 संघीय कानूनों को निरस्त कर दिया है। अमृत काल में सरकार ईज आॅफ डूइंग बिजनेस (ईओडीबी 2.0) व ईज आॅफ लिविंग के अगले चरण और पूंजी व मानव संसाधनों की उत्पादक दक्षता में सुधार के लिए ट्रस्ट-बेस्ड गवर्नेंस के लक्ष्य का पालन कर रही है। उन्होंने कहा कि सतत विकास को अब लोगों के मौलिक अधिकार के रूप में मान्यता दी गई है।
भारत के सर्वोच्च न्यायालय ने माना है कि भारत के संविधान के अनुच्छेद 21 के तहत सतत विकास को जीवन का एक अभिन्न अंग माना जाना चाहिए इसलिए, सतत विकास के सिद्धांत का पालन करना एक संवैधानिक जनादेश है। उन्होंने इंडिविजुअल सोशल रेस्पोन्सीबिलीटी (व्यक्तिगत सामाजिक जिम्मेदारी) पर जोर देते हुए कहा कि व्यक्तिगत तौर पर हम सब के ऊपर बड़ी जिम्मेदारी है। जब तक व्यक्तिगत सोच में बदलाव नहीं होगा, बड़ी क्रांति नहीं आ सकती।
गुरुग्राम के मानेसर स्थित आईआईसीए में आयोजित कार्यक्रम में कॉरपोरेट के प्रतिनिधियों द्वारा सीएसआर की बेस्ट प्रैक्टिसेज पर लगाई गई प्रदर्शनी का अवलोकन करते कारपोरेट मामलों के मंत्रालय के सचिव राजेश वर्मा, साथ में आईआईसीए के महानिदेशक प्रवीण कुमार।
कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे कॉरपोरेट मामले मंत्रालय के सचिव राजेश वर्मा ने कहा कि सीएसआर इको सिस्टम को सुदृढ़ करने के उद्देश्य से नेशनल सीएसआर अवार्ड की घोषणा जल्द ही की जाएगी, ताकि कॉरपोरेट्स को सीएसआर में और बेहतर प्रदर्शन करने के लिए प्रेरित किया जा सके।
उन्होंने कहा कि सीएसआर में कारपोरेट की भूमिका अत्यंत महत्वपूर्ण है। ऐसे में जरूरी है कि इको सिस्टम को मजबूत करने के लिए इससे जुड़े हित धारकों को भी शामिल करते हुए काम करवाए जाएं। आईआईसीए के महानिदेशक और सीईओ प्रवीण कुमार ने कहा कि यह सर्वविदित है कि अर्थव्यवस्था किसी भी राष्ट्र की रीढ़ समझी जाती है और इसके प्रमुख चालकों में से एक कारपोरेट क्षेत्र है, जिसने भारतीय विकास गाथा में उल्लेखनीय व महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।