India News (इंडिया न्यूज़) : राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने जम्मू कश्मीर लिबरेशन फ्रंट (जेकेएलएफ) प्रमुख यासीन मलिक की भौतिक उपस्थिति के निर्देश देने वाले अदालत के आदेश में संशोधन की मांग करते हुए दिल्ली हाई कोर्ट का रुख किया।
दिल्ली हाई कोर्ट ने अपने आखिरी आदेश में आतंकी फंडिंग मामले में यासीन मलिक के लिए मौत की सजा या मृत्युदंड की मांग करने वाली NIA की अपील पर सुनवाई करते हुए यासीन मलिक को 9 अगस्त को सुनवाई की अगली तारीख पर अदालत के समक्ष उपस्थित होने के लिए वारंट जारी किया था।
बता दें, NIA ने अपने आवेदन में कहा कि यासीन मलिक को अत्यधिक जोखिम वाले कैदियों की श्रेणी के तहत नई दिल्ली की तिहाड़ जेल में रखा गया है और यह आवेदन एक भारी सुरक्षा मुद्दे के संबंध में है। इसलिए यह जरूरी है कि सार्वजनिक व्यवस्था और सुरक्षा बनाए रखने के लिए प्रतिवादी/दोषी यासीन मलिक को इस माननीय न्यायालय के समक्ष शारीरिक रूप से पेश न किया जाए। एनआईए ने यह भी कहा कि उन्हें वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से कार्यवाही में शामिल होने की अनुमति दी जानी चाहिए।
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