India News(इंडिया न्यूज़)Rabies Bite Precaution: कुछ दिन पहले ही कुत्ते के काटने से एक बच्चे की मौत हो गई। कुत्ते काटने के मामले आए दिन सामने आ रही है। कुत्ते के काटने से मौत भी हो जाती है। कुछ दिन पहले जो मामला सामने आया था कि कुत्ते के काटने से बच्चे की मौत हो गई बता दे कि उस बच्चे को कुत्ते ने एक महीने पहले ही काटा था, लेकिन परिवार के डर के वजह से बच्चे ने किसी को कुछ नही बताया और कुछ दिन पहले ही उसकी मौत हो गई।
कुत्ते के काटने पर कोई टिटनश नहीं लेने पर इंसान की दर्दनाक मौत भी हो सकती है। डॉक्टर गौरव जैन बताते हैं कि जब भी कुत्ते के काटने के बाद सबसे पहले जिस स्थान पर कुत्ते ने काटा है वहां तुरंत जीवाणुरहित पट्टी (sterile bandage) से उस जगह को बांध ले। घाव पर अच्छे से पट्टी बांध कर तुरंत नजदीकी डॉक्टर को दिखाएं और उनकी सलाह लें। कुत्ते के काटने से हमें कुछ खास बात का ध्यान रखना पड़ता है। आइए जातने है किन बातों का रखना पड़ता है खास ध्यान।
डॉक्टर गौरव जैन बताते हैं कि जब भी कुत्ते के काटने के बाद सबसे पहले जिस स्थान पर कुत्ते ने काटा है वहां तुरंत जीवाणुरहित पट्टी (sterile bandage) से उस जगह को बांध ले। घाव पर अच्छे से पट्टी बांध कर तुरंत नजदीकी डॉक्टर को दिखाएं और उनकी सलाह लें।
इस समय में घरेलू उपाय करना खतरनाक साबित हो सकता है। किसी भी प्रकार के नीम हकीम या फिर घरेलू उपाय न करें और जल्द डॉक्टर से दिखा लें।
अगर कभी भी कुत्ता काट ले तो रैबीज से बचने के लिए फर्स्ट एड के तौर पर उसे घाव को 15 मिनट तक धोए और फिर वहां पट्टी बांध कर उसके बाद तुरंत नजदीकी डॉक्टर से दिखाना चाहिए और उनकी सलाह लेनी चाहिए।
कुत्ता काटने के 24 घंटे के अंदर ही इंजेक्शन लेना बहुत जरूरी है वरना जहर जल्दी फैलता है। बता दे कि इसके पांच इंजेक्शन लगते हैं। पहले इंजेक्शन लगने के तीसरे दिन दूसरा इंजेक्शन लगता है फिर सातवें दिन इंजेक्शन लगता है और उसके बाद 14वें दिन और लास्ट में 28 में दिन इंजेक्शन लगना जरूरी है।
अगर आपने अपने घर के पालतू कुत्ते को टिका लगवाया है तो फिर इसकी संभावना कम है। लेकिन फिर भी अगर आपके कुत्ते का दांत लग जाए या फिर स्क्रैच कर दे तो उसके बाद तुरंत डॉक्टर से संपर्क करना चाहिए और डॉक्टर के निर्देशानुसार टीका लगवा लें।
अगर रैबीज से संक्रमित कुत्ता हमें काट ले तो रेबीज हो सकता है लेकिन आजकल लोग अपने पालतू कुत्तों को इसका टीका पहले से लगवा देते हैं जिससे इसकी संभावना कम हो जाती है, लेकिन फिर भी आवारा कुत्तों में यह संभावना ज्यादा हो सकती है। उन्हें रेबीज हो सकता है, इसलिए किसी भी प्रकार की लापरवाही ना बरतें क्योंकि यह आपको नहीं पता कि किसी कुत्ते में रेबीज है या नहीं इसलिए तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें
एक से तीन महीने के आसपास आपको रेबीज के लक्षण दिखने लगते हैं। इसमें शरीर की मांसपेशियों में दर्द, बुखार, सिर दर्द, मांसपेशियों में ऐंठन, मानसिक संतुलन का बिगड़ना जैसे लक्षण सामने आते है। अगर ऐसा कुछ भी दिखे तो तुरंत डॉक्टर को दिखा लें।