India News(इंडिया न्यूज़) Tushar Dedha: कोरोना महामारी के कारण तीन दिन बाद हुए दिल्ली विश्वविद्यालय छात्र संघ चुनाव (DUSU चुनाव परिणाम) में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (एबीवीपी) के छात्रों ने एक बार फिर शानदार जीत हासिल की है। डूसू के चार में से तीन पदों पर जीत हासिल कर एबीवीपी ने न सिर्फ अपना परचम बरकरार रखा बल्कि इस बार एनएसयूआई को भी मात देने में कामयाब रही. साल 2019 में भी डूसू ने तीन पदों पर जीत हासिल की थी. फिलहाल खबर ये है कि डूसू अध्यक्ष पद का चुनाव जीतने के बाद तुषार डेढ़ा सुर्खियों में हैं.
दरअसल, 25 साल के तुषार डेढ़ा उत्तर-पूर्वी दिल्ली के घोंडा के रहने वाले हैं। तुषार ने अपनी ग्रेजुएशन सत्यवती कॉलेज से पूरी की। वह बौद्ध अध्ययन में स्नातकोत्तर प्रथम वर्ष का छात्र है। वह पिछले 8 साल से एबीवीपी से जुड़े हुए हैं. साल 2015 में उन्होंने आरएसएस और बीजेपी समर्थित छात्र संगठन एबीवीपी की सदस्यता ली. वर्ष 2016 में उन्होंने सत्यवती कॉलेज में कॉलेज सांस्कृतिक समन्वय का चुनाव जीता। वह DUSU की कार्यकारी परिषद के सदस्य भी रहे हैं। तुषार डेढ़ा लगातार पार्टी में सक्रिय रहे हैं और अपनी छवि बनाने में सफल रहे हैं.
वह साल 2016-17 के दौरान पार्टी के सेंट्रल काउंसलर भी रह चुके हैं। तुषार डेढ़ा के परिवार में उनकी छोटी बहन और मां हैं। उसके पिता नहीं हैं. वह कला संकाय में एमए प्रथम वर्ष का छात्र है। चुनाव जीतने के बाद उन्होंने कहा था कि मेरा एक सपना पूरा नहीं हुआ. वह सपना था इस बार डूसू में चारों उम्मीदवारों की जीत सुनिश्चित करना. फिलहाल चुनाव में जीत पर खुशी जाहिर करने के बाद उन्होंने कहा कि हमारी पहली प्राथमिकता डीयू के छात्रों के लिए दिल्ली मेट्रो में रियायती पास जारी करना है. ताकि कम आय वर्ग के छात्रों को कॉलेज और डीयू जाने और क्लास अटेंड करने में कोई दिक्कत न हो.
आपको बता दें कि डूसू चुनाव 2023 के नतीजे शनिवार को आए. एबीवीपी ने अध्यक्ष, सचिव और संयुक्त सचिव की तीन सीटों पर जीत हासिल की है, जबकि एनएसयूआई ने उपाध्यक्ष पद पर जीत हासिल की है. अध्यक्ष पद पर तुषार डेढ़ा, सचिव पद पर एबीवीपी की अपराजिता, संयुक्त सचिव पद पर सचिन बैंसला निर्वाचित हुए हैं. अब दहिया ने एनएसयूआई के उपाध्यक्ष पद पर जीत हासिल की है.
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