India News (इंडिया न्यूज) : केंद्र की मोदी सरकार ने वन नेशन वन इलेक्शन को लेकर एक बड़ी पहल की है। बता दें, केंद्र सरकार ने इस मुद्दे पर चर्चा के लिए एक कमिटी गठित की है। सरकार ने इसकी अध्यक्षता पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद को सौंपी है। सामने आई जानकारी के अनुसार, यह कमेटी सभी राजनीतिक दलों और स्टेकहोल्डर्स के साथ चर्चा करेगी। बताया जा रहा कमेटी के सदस्यों के नामों का एलान जल्द ही नोटिफिकेशन के माध्यम से किया जाएगा। इसके लिए केंद्र सरकार ने 18-22 सितंबर तक संसद का विशेष सत्र बुलाया है। सूत्रों के मुताबिक, इस दरम्यान सरकार संसद में ‘एक राष्ट्र, एक चुनाव’ विधेयक पेश कर सकती है। अब वन नेशन वन इलेक्शन की पहल पर सारा विपक्ष हमलावर हो चुका है। बता दें, ‘वन नेशन, वन इलेक्शन पर ओवैसी ने निशाना साधा है। ओवैसी ने ‘वन नेशन, वन इलेक्शन’ बहुदलीय संसदीय लोकतंत्र और संघवाद के लिए त्रासदी बताया है।
बता दें, एआईएमआईएम के प्रमुख और हैदराबाद से सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने रविवार को कहा कि ‘वन नेशन, वन इलेक्शन’ की अवधारणा देश में बहुदलीय संसदीय लोकतंत्र और संघवाद के लिए त्रासदी होगी और ऐसा लगता है कि इस पर विचार करने के लिए समिति का गठन बस औपचारिकता है। आगे ओवैसी ने कहा है कि केंद्र सरकार ने एकसाथ चुनाव कराने की संभावनाएं खंगालने के लिए पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद की अध्यक्षता में एक उच्च स्तरीय समिति बनायी है।
ओवैसी ने ‘एक्स’ (पूर्व में ट्विटर) पर पोस्ट किया, ‘‘यह उस समिति की नियुक्ति की अधिसूचना है जो ‘वन नेशन, वन इलेक्शन’ पर गौर करेगी। यह स्पष्ट है कि यह बस औपचारिकता है और सरकार पहले ही इस दिशा में आगे बढ़ने का निर्णय ले चुकी है। ‘वन नेशन, वन इलेक्शन’ बहुदलीय संसदीय लोकतंत्र और संघवाद के लिए त्रासदी होगी। ’’
ALSO READ ; ‘बीजेपी वालों ने नया शगूफा छोड़ा है’ ; वन नेशन, वन इलेक्शन पर केजरीवाल का हमला