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नई दिल्ली: इस त्योहारी सीजन अब देश के उपभोक्ताओं को मोदी सरकार एक ओर तोहफा देने जा रही है। मोदी कैबिनेट ने बुधवार को मूल्य समर्थन योजना (PSS) के तहत राज्यों को तुअर, उड़द और मसूर की खरीद सीमा को मौजूदा 25 प्रतिशत से बढ़ाकर 40 प्रतिशत करने की मंजूरी दे दी है, जिसके बाद अब उपभोक्ताओं को दालें सस्ती दरों पर उपलब्ध होंगी।
दरअसल, पीएम मोदी की अध्यक्षता में मंत्रिमंडल की आर्थिक मामलों की समिति (CCEA) की बैठक का आयोजन किया गया। जिसमें राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं में इस्तेमाल के लिए बफर स्टॉक से रियायतों दरों पर 15 लाख टन चना दाल जारी करने की भी मंजूरी दी गई। इसके तहत सभी राज्यों को ‘पहले आओ पहले पाओ’ के आधार पर 8 रुपये प्रति किलो छूट दी जाएगी। केंद्र सरकार इस योजना पर 1 हजार 200 करोड़ रुपये खर्च करेगी।
पिछले कुछ दिनों से अरहर दाल की बढ़ती कीमतों को देखते हुए केंद्र सरकार ने सभी राज्यों से स्टॉक की निगरानी करने और व्यापारियों द्वारा जमा किए गए स्टॉक की जानकारी देने को कहा था। यही नहीं, राज्यों को मौजूद अरहर स्टॉक के आंकड़े डिपार्टमेंट ऑफ कंज्यूमर अफेयर्स के ऑनलाइन मॉनिटरिंग पोर्टल पर अपडेट करने होंगे। केंद्र सरकार ने राज्यों से आवश्यक वस्तु अधिनियम 1955 के प्रावधानों को लागू करने का भी आदेश दिया ताकि अरहर दाल की कीमतों पर काबू किया जा सके।
वहीं केंद्र सरकार ने त्योहारी सीजन में दालों की कीमतों को बढ़ने से रोकने के लिए बफर स्टॉक में रखी 38 लाख टन दालों को खुले बाजार में जारी करने का फैसला किया था। उपभोक्ता मामलों के विभाग कि मानें तो इस साल अरहर सहित कई दालों के उत्पादन में कमी आने की आशंकाओं के कारण देश में दाल की कीमतें बढ़ रही हैं। खराब मौसम और बाढ़ की वजह से दाल उत्पादक के प्रमुख राज्यों में काफी फसल खराब हुई है। जिसके कारण जुलाई के दूसरे सप्ताह से दाल की कीमतों में तेजी देखने को मिल रही है।
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