India News(इंडिया न्यूज़), Bholenath: महादेव शिव को भोले भंडारी कहा जाता है, क्योंकि वे भक्तों पर बहुत जल्दी प्रसन्न हो जाते हैं। महादेव का प्रिय दिन सोमवार है और यह दिन महादेव की पूजा और व्रत आदि के लिए सर्वोत्तम बताया गया है। मान्यता है कि इस दिन माता पार्वती के साथ-साथ माता पार्वती की पूजा और व्रत करने से जहां सुख-शांति की सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं। भगवान शिव से कुंवारी लड़कियों को मिलता है मनचाहा वर। कई लड़कियां सावन के सोलह सोमवार का व्रत भी रखती हैं।
व्रत के दौरान भक्तों को सुबह स्नान करके भगवान भोलेनाथ की पूजा का संकल्प लेना चाहिए और फिर घर के मंदिर के सामने एक चौकी स्थापित करके भगवान शिव और माता पार्वती की मूर्ति या तस्वीर रखनी चाहिए। इसके बाद भगवान शिव और माता पार्वती का चंदन से तिलक करें, उन्हें रोली, अक्षत चढ़ाएं और सुपारी चढ़ाएं। इसके बाद मंदिर जाकर शिवलिंग का जलाभिषेक करना चाहिए। भगवान शिव को मालपुआ बहुत पसंद है और आप मालपुआ बनाकर भगवान शिव को अर्पित कर सकते हैं।
व्रत में भगवान शिव की पूजा करने के बाद उन्हें मालपुए का भोग लगाया जाता है। मालपुआ भगवान शिव की पसंदीदा मिठाई है। कहा जाता है कि मालपुआ शिव और पार्वती के विवाह पर बनाया गया था और महाशिवरात्रि के व्रत में भगवान शिव को मालपुए का भोग लगाना बहुत शुभ माना जाता है।
स्वादिष्ट मालपुआ स्वाद में मीठा होता है और आटे, दूध, सूजी और चीनी की मदद से बनाया जाता है। इसे बनाने के लिए एक बर्तन में आटा और सूजी मिलाएं और इसमें धीरे-धीरे दूध डालें और मिलाते रहें। इसके अंदर थोड़ी सी पिसी हुई सौंफ और इलायची भी डाल दीजिए। जब इसका पतला पेस्ट तैयार हो जाए तो पैन में तेल गर्म करके इसमें पकौड़े की तरह डाल दीजिए और मालपुआ को पलट-पलट कर तल लीजिए। तलने के बाद इन मालपुए को तेल से निकाल कर चाशनी में डाल दीजिए और फूल जाने पर निकाल लीजिए।
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