India News(इंडिया न्यूज़), India US Relation: विदेश मंत्री एस जयशंकर ने शनिवार को रूस के साथ चल रहे व्यापार के बीच अमेरिका के साथ संतुलित संबंध बनाए रखने के लिए भारत की प्रशंसा की और कहा कि यह हमारे लिए कोई समस्या नहीं है। दिलचस्प बात यह है कि जब जयशंकर म्यूनिख में एक सुरक्षा सम्मेलन के सत्र में यह टिप्पणी कर रहे थे, तो उसी मंच पर अमेरिकी विदेश मंत्री एंटनी ब्लिंकन और जर्मन विदेश मंत्री एनालेना बेयरबॉक भी मौजूद थे।
जयशंकर से पूछा गया, रूस के साथ व्यापार जारी रखते हुए भारत अमेरिका के साथ अपने बढ़ते संबंधों को कैसे बैलेंस कर रहा है? इसके जवाब में उन्होंने कहा, क्या यह कोई समस्या है, यह समस्या क्यों होनी चाहिए? मैं इतना स्मार्ट हूं कि मेरे पास बहुत चॉइस है, आपको मेरी तारीफ करनी चाहिए। यह पहली बार नहीं है कि विदेश मंत्री एस जयशंकर ने सस्ता रूसी तेल खरीदने के लिए भारत का रुख और प्रतिबद्धता व्यक्त की है। पहले भी कई मंचों पर वह भारत का रुख साफ तौर पर बता चुके हैं।
विदेश मंत्री एस जयशंकर ने भी गाजा के मौजूदा हालात पर चिंता जताई और कहा कि भारत कई दशकों से कहता रहा है कि फिलिस्तीन मुद्दे का दो-राज्य समाधान होना चाहिए और अब बड़ी संख्या में देश न केवल इसका समर्थन कर रहे हैं बल्कि इसे पहले भी रखें। विदेश मंत्री ने 7 अक्टूबर को हमास द्वारा इजरायली शहरों पर किए गए हमलों को ‘आतंकवाद’ बताया है। उन्होंने संघर्ष पर भारत की स्थिति स्पष्ट करते हुए कहा कि इसके कई पहलू हैं जैसे की हमें स्पष्ट होना चाहिए कि 7 अक्टूबर को जो हुआ वह आतंकवाद था; इसमें कोई संदेह नहीं है, यह आतंकवाद था। जैसा कि इज़राइल ने जवाबी कार्रवाई की, यह महत्वपूर्ण है कि इज़राइल को नागरिकों को हताहत करने के बारे में बहुत सावधान रहना चाहिए था। मानवीय कानून का पालन करना एक अंतरराष्ट्रीय दायित्व है। विदेश मंत्री ने कहा कि बंधकों की वापसी आज जरूरी है।