Saturday, July 6, 2024
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Delhi Jal Board: जल बोर्ड के पूर्व सलाहकार के खिलाफ दर्ज हुआ करप्शन का केस, पद पर रहकर की करोड़ों की हेराफेरी

India News Delhi (इंडिया न्यूज), Delhi Jal Board: दिल्ली जल बोर्ड के पूर्व सलाहकार अंकित श्रीवास्तव पर भ्रष्टाचार निरोधक शाखा (एसीबी) ने गंभीर आरोप लगाते हुए केस दर्ज किया है। उन पर आरोप है कि उन्होंने जल बोर्ड के ठेकों में करोड़ों रुपये का घोटाला किया, जिसमें बिना किसी वास्तविक काम के भारी भरकम बिलों का भुगतान कर दिया गया। इस मामले की गहन जांच के लिए एक विशेष जांच टीम (एसआईटी) का गठन किया गया है।

आम आदमी पार्टी (AAP) ने इस कार्रवाई के लिए केंद्र सरकार पर कड़ा हमला किया है। एसीबी सूत्रों के अनुसार, अंकित श्रीवास्तव को गलत तरीके से मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के कार्यालय में नियुक्त किया गया था। AAP ने आरोप लगाया है कि यह कार्रवाई राजनीति से प्रेरित है और केंद्र सरकार द्वारा पार्टी को बदनाम करने की कोशिश है।

Delhi Jal Board: ससुर को टेंडर देने का आरोप

अंकित श्रीवास्तव पर आरोप है कि उन्होंने रोहिणी एसटीपी में बनाए गए जलाशय के टेंडर अपने ही ससुर को गलत तरीके से दिया था। बिल में भारी मशीनों के काम करने की बात कही गई थी, लेकिन पंजीकरण नंबर से पता चला कि यह नंबर कार का है, जिससे साफ हुआ कि वहां कोई भारी मशीन नहीं गई थी। इन फर्जी बिलों की वजह से 2.16 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ।

AAP ने कहा: बदनाम करने के लिए दर्ज हो रहे झूठे केस

दिल्ली जल बोर्ड के पूर्व सलाहकार अंकित श्रीवास्तव के खिलाफ एसीबी द्वारा दर्ज किए गए केस पर आम आदमी पार्टी ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है। AAP ने इस मामले को झूठा बताते हुए कहा है कि भाजपा शासित केंद्र सरकार की जांच एजेंसियां, जैसे सीबीआई, ईडी, एसीबी और सतर्कता विभाग, भाजपा के प्रवक्ता के रूप में काम कर रही हैं। AAP का आरोप है कि दिल्ली में 25 मई को होने वाले चुनावों में भाजपा को सभी 7 सीटों पर हार का डर है, इसलिए वह जांच एजेंसियों का इस्तेमाल कर झूठे मामले दर्ज करवा रही है।

Delhi Jal Board: रची जा रही हैं झूठी कहानियां

आम आदमी पार्टी का कहना है कि भारत और दिल्ली के लोगों को अब समझ आ गया है कि यह सब सिर्फ झूठी कहानियां हैं। जांच एजेंसियों को बी ग्रेड फिल्म स्क्रिप्ट राइटर में बदल दिया गया है। केंद्र सरकार की ये एजेंसियां शीर्ष अदालत में रोजाना बेनकाब हो रही हैं। ये एजेंसियां सिर्फ मीडिया में गढ़ी गई फर्जी कहानियों का इस्तेमाल करके भाजपा के विरोधियों को बदनाम कर रही हैं। यह इतना आम हो गया है कि लोग अब ऐसी फालतू कहानियों पर ध्यान देना बंद कर चुके हैं।

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