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क्या है ‘श्वेत पत्र’? जिसे UPA सरकार में हुए गड़बड़ियों के खिलाफ लाएगी मोदी सरकार

• LAST UPDATED : February 6, 2024

India News(इंडिया न्यूज़), parliament Budget Session 2024: कांग्रेस के नेतृत्व में रही UPA सरकार के 10 सालों के आर्थिक कुप्रबंधन को लेकर केंद्र की मोदी सरकार संसद में श्वेत पत्र लाएगी। सामने आई जानकारी के अनुसार, ये श्वेत पत्र सदन में शुक्रवार (9 फरवरी) या फिर शनिवार (10 फरवरी) को पेश किया जा सकता है।

श्वेत पत्र में आर्थिक कुप्रबंधन के अलावा UPA सरकार के दौरान उठाए जा सकने वाले सकारात्मक कदमों के असर के बारे में भी बात की जाएगी। साथ ही पत्र में भारत की आर्थिक दुर्गति और इकॉनमी पर पड़े नकारात्मक प्रभावों को भी विस्तार से रखा जाएगा।

बता दें, ये श्वेत पत्र ऐसे में समय सामने आ रहा है जब सोमवार (5 फरवरी) को ही PM मोदी ने लोकसभा में राष्ट्रपति के अभिभाषण पर धन्यवाद प्रस्ताव पर हुई चर्चा का जवाब देते हुए कांग्रेस पर निशाना साधा था। उन्होंने सदन में कहा था कि कांग्रेस सिर्फ एक परिवार में उलझ गई है। कांग्रेस ने देश के लोगों ने कुछ काम नहीं किया है।

क्या होता है श्वेत पत्र?

बता दें, श्वेत पत्र की शुरुआत 99 साल पहले सन् 1922 में ब्रिटेन में हुई थी। संविधान के मुतबिक, यह किसी विषय के बारे में ज्ञात जानकारी या एक सर्वेक्षण/ अध्ययन के परिणाम का सारांश होता है। एक श्वेत पत्र किसी भी विषय के बारे में हो सकता है, हालाँकि यह हमेशा चीजों के काम करने के तरीके को बेहतर बनाने के लिए सुझाव देता है। यह आमतौर पर सरकार द्वारा अनुवर्ती कार्रवाई या कम से कम 1 निष्कर्ष के लिए प्रकाशित किया जाता है।

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